DCCHG Full Form in hindi – बैंकिंग के क्षेत्र में डीसीसीएचजी क्या होता है?

DCCHG Ka Full Form | DCCHG Full Form in Hindi | डीसीसीएचजी क्या हैं | DCCHG meaning In Hindi | डीसीसीएचजी का फुल फॉर्म क्या होता है | Full Form of DCCHG

आज के समय में लेनदेन करने के लिए ज्यादातर लोग डेबिट कार्ड या ऑनलाइन बैंकिंग ऐप्स का इस्तेमाल करते है। ऐसे में बहुत सी बार हमे अपने अकाउंट पर तरह तरह के मैसेज आते है जिनसे हम जान पाते है की हमारे अकाउंट से पैसे काट दिए गए है।

अगर आप अपने बैंक की तरफ से आने वाले मैसेज पढ़ते है तो आप ने भी कभी न कभी DCCHG के बारे में पढ़ा होगा। आज हम आपको बताएंगे DCCHG क्या होता है, DCCHG Full Form क्या है? और इससे जुड़ी खास जानकारी जो आपको मालूम होना जरूरी है।

DCCHG Full Form in hindi

DCCHG बैंकिंग में इस्तेमाल होने वाला शब्द है जिसका फुल फॉर्म हिंदी भाषा में “डिक्लाइन चार्जेस” या फिर “डेबिट कार्ड चार्जेस” होता है जबकि अंग्रेजी भाषा में DCCHG के Full Form “Decline Charges” होता है, और यह एक प्रकार के बैंको द्वारा काटे जाना वाला डेबिट कार्ड चार्ज होता है, जिसे डिक्लाइन चार्जेस भी कहा जाता है।

DC – Decline
CHG – Charges

डिक्लाइन चार्जेस क्या होते है?

डिक्लाइन चार्जेस, DCCHG का फुल फॉर्म है। अलग अलग बैंकों के द्वारा आपके बैंक अकाउंट को चलाने के लिए अलग अलग प्रकार के शुल्क लिए जाते है। डिक्लाइन चार्जेस ऐसे शुल्क होते है जो की किसी भी ट्रांजेक्शन के डिक्लाइन होने यानी अस्वीकृत होने पर लिए जाते है।

आमतौर पर डिक्लाइन चार्जेस एटीएम या डेबिट कार्ड का इस्तेमाल करते समय ट्रांजेक्शन अस्वीकृत होने पर लिए जाता है। ज्यादातर बैंक के डिक्लाइन चार्जेस लगभग 20 – 25 रूपिए + जीएसटी होते है।

डिक्लाइन चार्जेस क्यों लिए जाते है?

अलग अलग बैंकों द्वारा ट्रांजेक्शन सफल न होने पर डिक्लाइन चार्जेस लिए जाते है, डिक्लाइन चार्जेस लिए जाने के पीछे निम्नलिखित कारण हो सकते है।

अपर्याप्त बैलेंस होना – अगर आपके बैंक अकाउंट में पर्याप्त बैलेंस नही है और आप डेबिट कार्ड या एटीएम कार्ड के जरिए उस बैंक अकाउंट से ट्रांजेक्शन करने की कोशिश करते है तो आपको डिक्लाइन चार्जेस देने पड़ सकते है।

गलत जानकारी डालने पर – बहुत सी बार हम में से बहुत से लोग ट्रांजेक्शन करने से पहले यह चेक करना भूल जाते है की हमारे द्वारा डाली गई पेमेंट की जानकारी सही है या नही। अगर आप गलत जानकारी डालकर ट्रांजेक्शन करने की कोशिश करते है तो आपसे डिक्लाइन चार्जेस लिए जा सकते है।

तकनीकी खराबी के कारण – बहुत सी बार बैंक या ट्रांजेक्शन के लिए इस्तेमाल की जाने वाली मशीन में तकनीकी खराबी आ जाती है जिसके कारण आपके बैलेंस से डिक्लाइन चार्जेस काटे जा सकते है।

धोखाधड़ी का शक होने पर – ज्यादातर बैंक अपने अपने ग्राहकों को धोखाधड़ी से दूर रखना पसंद करते है, अगर आप अपने क्रेडिट कार्ड या एटीएम कार्ड से ऐसे ट्रांजेक्शन करते है। जो धोखाधड़ी से जुड़े हो सकते है तो बैंक द्वारा आपकी ट्रांजेक्शन डिक्लाइन की जा सकती है और आपसे डिक्लाइन चार्जेस लिए जा सकते है।

ट्रांजेक्शन लिमिट से ज्यादा ट्रांजेक्शन करने पर – सभी बैंको द्वारा एक ट्रांजेक्शन लिमिट सेट की जाती है अगर आप अपने क्रेडिट कार्ड या एटीएम कार्ड से ट्रांजेक्शन लिमिट से ज्यादा ट्रांजेक्शन करते हैं तो आपकी ट्रांजेक्शन डिक्लाइन की जा सकती है। और आपसे डिक्लाइन चार्जेस लिए जा सकते हैं।

डेबिट कार्ड चार्जेस क्या होते हैं?

डिक्लाइन चार्जेस के साथ साथ कुछ बैंको में आपके द्वारा लिए गए डेबिट कार्ड को इस्तेमाल करने पर भी कुछ चार्जेस लगाए जाते हैं जिन्हे डेबिट कार्ड चार्जेस या डेबिट कार्ड फीस कहा जाता है।

डेबिट कार्ड चार्जेस एक साल में एक बार लिया जाता है। अलग अलग बैंको द्वारा अलग अलग डेबिट कार्ड चार्जेस निर्धारित किए गए है।

डेबिट कार्ड चार्जेस कितना होता है?

अलग अलग बैंक द्वारा डेबिट कार्ड के अलग अलग वेरिएंट के लिए अलग अलग डेबिट कार्ड चार्जेस लिए जाते है।

कुछ बैंक ऐसे भी है जो को एटीएम कार्ड इस्तेमाल करने पर कोई भी डेबिट कार्ड चार्जेस नही लेते है। आमतौर पर डेबिट कार्ड चार्जेस 100 रुपिए + जीएसटी से लेकर 750 रुपिए + जीएसटी तक हो सकता है।

FAQ?

Q. डीसीसीएचजी का मतलब क्या है?

Ans: डीसीसीएचजी यानी डिक्लाइन चार्जेस का मतलब ट्रांजेक्शन विफल होने पर लिया जाने वाला चार्ज या फीस है जो की 20 रुपिए से लेकर 25 रुपिए तक हो सकता है।

Q. डीसीसीएचजी से कैसे बचे?

Ans: अगर आप डीसीसीएचजी चार्जेस से बचना चाहते है तो आपको ट्रांजेक्शन करने से पहले अपना बैंक बैलेंस चेक कर लेना चाहिए, इसी के साथ आप पेमेंट डिटेल्स दोबारा चेक कर सकते है।

Q. डीसीसीएचजी का पता कैसे चलता है?

Ans: अगर आपके पार अपने बैंक अकाउंट से रजिस्टर्ड सिम कार्ड मौजूद है तो आप इस सिम कार्ड पर आने वाले मैसेज के जरिए डीसीसीएचजी का पता लगा सकते है। बैंक पासबुक अपडेट करने पर भी बैंक द्वारा काटे गए डीसीसीएचजी का पता चल सकता है।

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निष्कर्ष –

Hindiworld ब्लॉग के आज के इस लेख में हम लोगों ने DCCHG Full Form in hindi और DCCHG क्या होता है इसके बारे मे जाना है। इस लेख में हमने DCCHG की फूल फॉर्म के साथ साथ इस से जुड़ी अन्य जानकारी भी दी है। में आशा करता हूं की यह लेख आपको पसंद आया होगा।

अगर आप कुछ और शब्दो का फुल फॉर्म जानना चाहते है तो आप हिंदीवर्ल्ड ब्लॉग के फुल फॉर्म सेक्शन पर जा सकते है। अगर आप किसी शब्द का फुल फॉर्म जानना चाहते है तो कॉमेंट कर हमे बता सकते है। धन्यवाद

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